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राज्य सरकार की एसओपी के मुताबिक, बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री में केवल रावल, पुजारीगण और मंदिरों से जुड़े स्थानीय हक हकूकधारी, पंडा पुरोहित, कर्मचारी व अधिकारी ही जाएंगे. यही नहीं, सभी की कोरोना निगेटिव रिपोर्ट लाना जरूरी है.
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