चमोली : नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क और यूनेस्को की विश्व धरोहर ‘वैली ऑफ़ फ्लावर्स’ देश और दुनियाभर के आगंतुकों के लिए 01 जून से 31 अक्तूबर तक खुल गई है । प्रकृति प्रेमी और घूमने के शौकीन लोगों के लिए यह किसी जन्नत से कम नहीं। यहां आपको कई जगहों पर प्रकृति का अद्भूत नजारा देखने को मिलेगा।
उत्तराखंड के चमोली जिले में स्थित फूलों की घाटी पर्यटकों के लिए खोल दी गई है। पर्यटक जून से लेकर अक्टूबर तक कभी भी आ सकते हैं। लेकिन यदि आप यहाँ घूमने का प्लान कर रहे हैं तो आपको बरसात के बाद का महीना यानी जुलाई-अगस्त बेस्ट होता है क्योंकि इस दौरान यहाँ सबसे ज्यादा फूल देखने को मिलते हैं। यहाँ पर 600 से अधिक फूलों की प्रजाति पाई जाती है। घाटी का निरीक्षण कर लौटी टीम ने बताया कि इस साल घाटी में अच्छी बर्फबारी हुई है जिससे यहां अच्छी फ्लावरिंग होने की उम्मीद है। जुलाई और अगस्त के बीच सबसे अधिक 300 प्रजाति के फूल खिलते हैं। उस समय काफी संख्या में पर्यटक भी घाटी में पहुंचते हैं।
अगर आप फूलों की घाटी जाने का प्लान कर रहे हैं तो सबसे पहले आपको गोविंदघाट (चमोली) आना होगा यहाँ पहुँचने के लिए आप ऋषिकेश, हरिद्वार या देहरादून से बस ले सकते हो। फिर गोविंदघाट से 13 किमी. ऊपर घांघरिया फूलों की घाटी का बेस कैंप है आपको अगले दिन यहाँ के लिए निकलना होगा। आप घांघरिया तक पहुँचने के लिए गाड़ी से पुलना गांव तक 4 किमी का सफर तय कर सकते हो उसके बाद 9 किमी का ट्रैक है घांघरिया तक है। अब आपको अगले दिन घांघरिया से सुबह जल्दी फूलों की घाटी का ट्रैक करना है जो कि 4 किमी का है और यह सुबह 7 बजे से दिन के 12 तक तक एंट्री लेने का समय है। इस तरह आप 4 से 5 दिनों में यह ट्रैक कम्प्लीट कर सकते हो। भारतीय पर्यटकों के लिए यहाँ पर एंट्री फीस 200 रुपए है और विदेशी सैलानियों के लिए 800 रुपए।