चुनाव में क्या होता है माइक्रो ऑब्जर्वर का काम ?

लोकसभा चुनाव 2024 बेहद नजदीक हैै. मतदान की तारीख के लिए चुनाव आयोग अपनी तैयारियों में जुटा हुआ है, ऐसे में मतदान केंद्र के अंदर ऐसे कई लोग होते हैं जिनके बारे में लोगों को कुछ खास जानकारी नहीं होती, लेकिन उनका काम बेहद जरूरी होता है. इन्हीं में से एक है माइक्रो ऑब्जर्वर. मतदान केंद्र में ये तैनात तो होते हैं लेकिन कई बार इनका काम क्या है इस बात से लोग अनजान रहते हैं. तो चलिए आज हम जान लेते हैं.

क्या होता है माइक्रो आब्जर्वर का काम?

मतदान केंद्र में माइक्रो आब्जर्वर मुख्य रूप से तैनात होते हैं, जिनकी अहम भूमिका होती है. चुनाव आयोग द्वारा उन सरकारी कर्मचारियों का माइक्रो आब्जर्वर नियुक्त किया जाता है, जो ग्रुप सी से नीचे नहीं हैं. इन माइक्रो आब्जर्वर को एक दिन की ड्यूटी के एक हजार रुपए मिलते हैं और साथ ही आने-जाने का खर्च भी. अब आप सोच रहे होंगे कि इनका ऐसा क्या काम होता है. तो बता दें कि माइक्रो ऑब्जर्वर को मतदान केंद्रों पर नजर रखने के लिए रखा जाता है. इस दौरान वो देखते हैं कि मतदान केंद्रों पर चुनावी प्रक्रिया स्वतंत्र और निष्पक्ष रूप से चल रही है या नहीं.

किन चीजों का रखते हैं ध्यान

माइक्रो ऑब्जर्वर इस बात का ध्यान रखते हैं कि मतदान के बाद ईवीएम सील हुई है या नहीं या मतदानता के हाथ मेें चुनावी स्याही लग रही है या नहीं इन सभी चीजों पर अपनी नजर रखते हैं. हालांकि मतदान केंद्रों पर माइक्रो ऑब्जर्वर के पास पोलिंग ऑफिसर या प्रिसाइडिंग ऑफिसर के अधिकार नहीं होते. वहीं माइक्रो ऑब्जर्वर को चुनावी केंद्र पर कोई गड़बड़ी होती नजर आती है तो वो इस बात की जानकारी तुरंत जनरल ऑब्जर्वर को देता है. जिसके बाद आगे की कार्रवाई की जाती है. इस तरह चुनाव के दौरान मतदान बूथ पर तैनात हर एक कर्मचारी जरूरी होता है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top