आज दुनियाभर के बाजार में तमाम कॉस्मेटिक्स और कैप्सूल्स मौजूद हैं, जो लोगों को कुछ दिनों में जवां दिखाने का दावा करते हैं। हालांकि, असल में देखा जाए तो इन महंगे-महंगे प्रोडक्ट्स का कुछ खास असर नहीं होता है। ऐसे में साइंटिस्ट उम्रदराज लोगों में युवाओं जैसी चुस्ती-फुर्ती लाने के लिए लंबे समय से प्रयोग कर रहे हैं, वहीं अब जाकर इसमें कुछ कामयाबी मिलती दिख रही है। हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के एक्सपर्ट्स की इस रिसर्च की मानें तो शायद कुछ समय बाद 50 साल की उम्र का इंसान भी 30 साल के युवा जितना ताकतवर और खूबसूरत लग सकता है। यानी उसकी स्किन उतनी ही कसी हुई लगेगी जितनी किसी नौजवान की होती है। अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर ये कैसे हो सकता है क्या यह उम्र के पीछे लौटने से जुड़ा है। तो आइए इस शोध के बारे में अधिक जानते हैं।
दरअसल, बोस्टन की लैब्स में बूढ़े और कमजोर चूहों को ज्यादा स्वस्थ और मजबूत चूहों में बदल दिया गया है। इतना ही नहीं इस दौरान उनकी उम्र के कारण कमजोर पड़ी नजर भी ठीक हो गई है। हार्वर्ड मेडिकल स्कूल और बोस्टन यूनिवर्सिटी के इस जॉइंट शोध के बाद शोधकर्ता डेविड सिनक्लेयर ने साफ तौर पर कहा कि उम्र एक रिवर्सिबल प्रोसेस है, जिसके साथ छेड़छाड़ संभव है।रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस शोध का नाम है- लॉस ऑफ एपीजेनेटिक इंफॉर्मेशन एज कॉज ऑफ मैमेलियन एजिंग। इस प्रयोग में पाया गया कि उम्र को पीछे लौटाकर वापस युवा बनाया जा सकता है। इस दौरान एक और चौंकाने वाली बात ये भी सामने आई कि एज न केवल पीछे लौटती है, बल्कि इसे आगे भी बढ़ाया जा सकता है।
किसी भी शरीर के पास अपनी युवावस्था की बैकअप कॉपी होती है, यदि इस कॉपी को ट्रिगर किया जाए तो सेल्स का रीजेनरेशन होने लगेगा और उम्र पीछे लौटने लगेगी। ऐसे में ये बात गलत साबित हुई कि बढ़ती उम्र जेनेटिक म्यूटेशन का नतीजा है। जिसमें डीएनए कमजोर पड़ जाते हैं या समय के साथ कमजोर हो चुकी कोशिकाएं शरीर को भी कमजोर बना देती हैं।शोधकर्ता सिनक्लेयर का कहना है कि जब कोशिकाएं अपने ही डीएनए को ठीक से रीड नहीं कर पाती है, तो बुढ़ापा आने लगता है। जिस तरह कोई पुरानी और ढीले कलपुर्जों वाली मशीन पर आने वाला सॉफ्टवेयर करप्ट हो जाता है। इस रिसर्च के दौरान बूढ़े और कमजोर नजर वाले चूहों में ह्यूमन एडल्ट स्किन सेल्स को डाला गया। इसके बाद कुछ ही दिनों में उनकी नजर वापस ठीक हो गई।