मुनिकीरेती और लक्ष्मणझूला क्षेत्र में महज आठ महीने में 18 पर्यटक बह चुके हैं। इनमें से 12 पर्यटकों के शव बरामद हो चुके हैं, जबकि 6 का कुछ पता नहीं लग सका है। हैरत की बात यह है कि इस सब के बावजूद मुनिकीरेती और लक्ष्मणझूला पुलिस की ओर से गंगा घाटों पर पर्यटकों की सुरक्षा के लिए कोई पुख्ता इंतजाम नहीं हैं।
वहीं, थाना मुनिकीरेती क्षेत्र की बात करें तो तपोवन स्थित नीमबीच, सच्चाधाम घाट, दर्शन कॉलेज घाट और पूर्णानंद घाट अतिसंवेदनशील घाट हैं, लेकिन पुलिस प्रशासन की ओर से यहां सैलानियों की सुरक्षा की कोई व्यवस्था नहीं है। वर्ष 2019 में 16 और वर्ष 2020 में 15 पर्यटक इन घाटों पर अपनी जान गंवा चुके हैं।
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मुनिकीरेती थानाध्यक्ष कमलमोहन भंडारी ने बताया कि नोएडा की एयरटेल एंड्राइड कंपनी के अधिकारियों और कर्मचारियों का दल योगनगरी घूमने आया था। रविवार सुबह करीब 9 बजे कंपनी के सेंटर हेड राहुल सिंह (36) पुत्र स्व. प्रेमपाल सिंह निवासी कलाम पुलिस लाइन मार्ग बुलंदशहर उत्तर प्रदेश रामझूला पुल के पास स्थित दर्शन कॉलेज घाट पर गंगा में आचमन के लिए उतरे थे। अचानक पैर फिसलने से सेंटर हेड गंगा में बहने लगे।
मौके पर मौजूद कंपनी के मैनेजर भानुमूर्ति (37) पुत्र एबीएस नारायण निवासी मयूर विहार पूर्वी दिल्ली से बचाने के लिए गंगा में उतर गए, लेकिन वह भी गंगा के तेज बहाव की चपेट में आ गए। कुछ देर बाद दोनों ही गंगा की धारा में ओझल हो गए।