Flash Story
DBS:फेस्ट में दून कालेजों के छात्रों का संगम,समापन सत्र में पहुंचे मंत्री सुबोध उनियाल
देहरादून :  मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल लिवर रोगों  को दूर करने में सबसे आगे 
जेल में बंद कैदियों से मिलने के लिए क्या हैं नियम
क्या आप जानते हैं किसने की थी अमरनाथ गुफा की खोज ?
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने भारतीय वन सेवा के 2022 बैच के प्रशिक्षु अधिकारियों को दी बधाई
आग में फंसे लोगों के लिये देवदूत बनी दून पुलिस
आगर आपको चाहिए बाइक और स्कूटर पर AC जैसी हवा तो पड़ ले यह खबर
रुद्रपुर : पार्ट टाइम जॉब के नाम पर युवती से एक लाख से ज्यादा की ठगी
देहरादून : दिपेश सिंह कैड़ा ने UPSC के लिए छोड़ दी थी नौकरी, तीसरे प्रयास में पूरा हुआ सपना

यूनिफॉर्म सिविल कोड के लिए पहली कैबिनेट बुलाने पर प्रीतम सिंह का ज़ोरदार हमला – धामी सरकार को घेरा

उत्तराखंड में सरकार बनने के बाद धामी सरकार ने पहली कैबिनेट बैठक में यूनिफॉर्म सिविल कोड के लिए कमेटी गठन को मंजूरी दे दी है, जिसके बाद से कांग्रेस सरकार को यूनिफॉर्म सिविल कोड के बहाने अन्य मुद्दों पर घेरने में लगी है.कांग्रेस का कहना है कि प्रदेश में बेरोजगारी, महंगाई और पलायन जैसे गंभीर मुद्दे सामने खड़े हैं, लेकिन यूनिफॉर्म सिविल कोड का जिक्र किया जाता है, इससे भाजपा का चाल चरित्र चेहरा उजागर हो गया है.

यूनिफॉर्म सिविल कोड के मुद्दे पर कांग्रेस पूर्व प्रदेश अध्यक्ष प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने सरकार का आड़े हाथ लिया है. पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और विधायक प्रीतम का कहना है कि भाजपा के संकल्प पत्र में सिविल कोड का कोई जिक्र नहीं है..कांग्रेस को लगता है  कि नई सरकार पहली कैबिनेट बैठक में बढ़ती महंगाई पर अंकुश कैसे लगे, इस पर चिंतन और मनन करेगी. इसके साथ ही बेरोजगारी, अर्थव्यवस्था, विकास के अवरुद्ध कार्यों, लोकायुक्त पर चर्चा करेगी, लेकिन सरकार ने अपने चुनावी घोषणा-पत्र पर कोई चर्चा नहीं की.पूर्व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने मीडिया से बात करते हुए ये भी कहा कि यह वादा तो केंद्र में बैठी सरकार देश के लोगों से हर लोकसभा चुनाव में करती आ रही है, लेकिन अभी तक तो कोई वादा पूरा नहीं हुआ.वहीं, यूनिफॉर्म सिविल कोड के लिए कमेटी गठन की मंजूरी दिए जाने के पर प्रीतम सिंह ने कहा कि क्या कैबिनेट की बैठक इसलिए बुलाई गई थी कि इसमें एक समिति का गठन होना है.इससे अच्छा होता कि मुख्यमंत्री ऐसे ही अनाउंस कर देते.भाजपा की कथनी और करनी में फर्क है.क्योंकि, भाजपा देश के अंदर अपनी सरकार की उपलब्धियों के माध्यम से चुनाव नहीं जीत सकती है और इसलिए हमेशा सांप्रदायिक सौहार्द को समाप्त करके समाज को तोड़ने का काम करती है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top