राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष इकबाल सिंह लालपुरा ने कहा कि पीएम मोदी की सरकार में अल्पसंख्यक 100 प्रतिशत सुरक्षित हैं। अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष का कमेंट उस समय आया है जब कांग्रेस सहित विपक्षी दलों और कई नागरिक समाज के सदस्यों द्वारा सरकार की मुखर आलोचना की गई है, जिसमें तर्क दिया है कि अल्पसंख्यकों को लक्षित करने वाली घृणा की घटनाएं केंद्र में भाजपा के नेतृत्व वाले शासन में बढ़ी हैं।
हिंसा की खबरों के बीच आया आयोग का बयान
हाल ही में देश के विभिन्न हिस्सों में अल्पसंख्यक समुदाय के पीड़ितों के साथ भीड़ द्वारा हिंसा की घटनाओं की भी खबरें आई हैं, जिसमें एक मुस्लिम स्क्रैप डीलर भी शामिल है, जिसे कथित तौर पर दो लोगों द्वारा धमकी दी गई थी और जबरन ‘जय श्री राम’ बोलने के लिए मजबूर किया गया था। मध्य प्रदेश के उज्जैन जिले का एक गांव।
एक सप्ताह पहले ही संभाला था कार्यभार
पिछले हफ्ते राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग (एनसीएम) के अध्यक्ष के रूप में पदभार संभालने वाले लालपुरा ने कहा कि उनकी प्राथमिकता अल्पसंख्यकों के बीच असुरक्षा को बढ़ावा देने वाले झूठे तथ्यों को दूर करना होगा
केंद्र सरकार ने भारतीय जनता पार्टी के प्रवक्ता और अवकाश प्राप्त आईपीइस अफसर इक़बाल सिंह लालपुरा को राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया है। राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के इतिहास में ऐसा केवल दूसरी बार हुआ है, जब एक गैर मुस्लिम को आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है। इसके पहले 2003 में स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी के प्रधानमंत्रित्व काल में तत्कालीन एनडीए सरकार ने सरदार तरलोचन सिंह को आयोग का अध्यक्ष नियुक्त किया था। इस नियुक्ति के पहले आयोग के अध्यक्ष सैय्यद एसजीएच रिज़वी थे। आयोग के वर्तमान उपाध्यक्ष अतीफ रिज़वी हैं।